Considerations To Know About sidh kunjika
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देवी माहात्म्यं दुर्गा सप्तशति प्रथमोऽध्यायः
मां भगवती के इस पाठ को करने की विधि है उसका पालन जरूर करें. आइए जानते हैं सिद्ध कुंजिका पाठ की विधि और लाभ.
Stotram would be the tune. The Music of Perfection and that is not hidden due to growth. That may be, our spiritual advancement and comprehension of the Chandi exposes the concealed meanings with the bija mantras while in the Tune.
देवी माहात्म्यं दुर्गा सप्तशति द्वादशोऽध्यायः
ॐ ऐं ह्रीं क्लीं चामुण्डायै विच्चे। ॐ more info ग्लौ हुं क्लीं जूं स:
ओं ग्लौं हुं क्लीं जूं सः ज्वालय ज्वालय ज्वल ज्वल प्रज्वल प्रज्वल
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No. Pratyahara usually means to carry the senses inside. That is certainly, closing off external notion. Stambhana fixes the perception within by Keeping the imagined still as well as the feeling.
देवी माहात्म्यं दुर्गा सप्तशति सप्तमोऽध्यायः
धां धीं धूं धूर्जटेः पत्नीः, वां वीं वागधीश्वरी तथा।
श्री अन्नपूर्णा अष्टोत्तरशत नाम्स्तोत्रम्
देवी माहात्म्यं दुर्गा सप्तशति त्रयोदशोऽध्यायः
दकारादि दुर्गा अष्टोत्तर शत नामावलि
समय का अभाव है तो नवरात्रि के नौ दिनों में सिद्ध कुंजिका स्तोत्र का पाठ कर देवी की उपासना की जा सकती है. इससे पूजा और व्रत का अक्षय पुण्य प्राप्त होगा.